ग्वालियर :- मध्यप्रदेश में शहरों का नाम बदलने की फेहरिस्त में पिछले साल होशंगाबाद शहर का नाम बदलकर नर्मदापुर कर दिया गया था. लेकिन रेलवे स्टेशन का नाम नहीं बदला था. अब होशंगाबाद रेलवे स्टेशन का नाम बदलकर नर्मदापुरम स्टेशन हो गया है. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने परिवहन प्रमुख सचिव को आदेश भेजा है.
होशंगाबाद रेलवे स्टेशन का नाम नर्मदापुरम किए जाने पर विपक्ष ने सवाल उठाया है. नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह ने बीजेपी सरकार के नाम बदलने की प्रक्रिया पर सवाल खड़े किए हैं. नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की संस्कृति है कि उनका प्रजातंत्र में विश्वास नहीं है. स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के नाम पर उनको आपत्ति है. क्योंकि भारतीय जनता पार्टी के जो पुराने लोग हैं, जो हिंदू महासभा और RSS के है. वह कभी जेलों में नहीं गए है, गए भी है तो माफी मांग के आ गए.
आंदोलनों में उनका कोई योगदान नहीं और वह पूरी तरह से पुरानी राजा महाराजाओ की संस्कृति लाना चाहते हैं. अधिकांश शहरों के नाम राजा महाराजाओं के नाम पर हवाई अड्डे और रेलवे स्टेशन के नाम किए जा रहे हैं. धीरे-धीरे धर्म के नाम पर और अपने अनुयायियों के नाम पर जिनका कोई योगदान नहीं है. उनके नाम पर करने की परंपरा भारतीय जनता पार्टी ने शुरू की है. यह शर्मनाक है, इसे उचित नहीं समझा जा सकता है.
8 फरवरी 2022 को सीएम शिवराज सिंह चौहानने नर्मदा जंयती पर मंच से होशंगाबाद शहर का नाम बदलकर नर्मदापुरम किया था. इसके बाद दिल्ली से नोटिफिकेशन जारी होने के बाद इसकी आधिकारिक घोषणा की गई थी और नए बोर्ड भी लगवाए गए थे. लोग अब नए नाम का ही उपयोग कर रहे हैं.
होशंगाबाद शहर का नाम बदलकर नर्मदापुरम हो गया था, लेकिन स्टेशन का नाम परिवर्तित नहीं हुआ था. रेलवे स्टेशन पर नर्मदापुरम के बोर्ड जरूर लगा दिए गए थे, लेकिन उसे भी हटा दिया गया था. अब केंद्र से आदेश जारी होने के बाद रेलवे स्टेशन का नाम भी नर्मदापुरम परिवर्तित किया गया है.