रायपुर । छत्तीसगढ़ राज्य की स्थापना के बाद से लेकर अब तक रायपुर जिले में सड़क दुर्घटनाओं में हुई मौतों का आंकड़ा यातायात पुलिस के तीन डीएसपी तैयार कर रहे हैं। अधिकारियों ने बताया कि जिले में चिन्हांकित 27 ब्लैक स्पॉट में से इस साल औठ कम हो गए हैं। साल भर में ये ब्लैक स्पॉट इसलिए कम हुए, क्योंकि उन स्थानों पर ओवरब्रिज, फ्लाईओवर, एक्सप्रेस-वे का निर्माण हो चुका है। लिहाजा इस साल जनवरी से अब तक सड़क हादसे में होने वाली मौतों में कमी आई है।जानकारी के मुताबिक केंद्रीय परिवहन मंत्रालय ने पिछले दिनों पुलिस मुख्यालय को पत्र लिखकर 19 साल के भीतर जिले में हुई मौतों और ब्लैक स्पॉट की जानकारी मांगी थी। मुख्यालय के निर्देश पर तीन ट्रैफिक डीएसपी के नेतृत्व में कई इंस्पेक्टर सड़क हादसे की रिपोर्ट बना रहे हैं।
जिले में 19 ऐसे ब्लैक स्पॉट को चिन्हित किया गया है. जहां पर लगातार सड़क दुर्घटनाओं में आम लोगों को जान गंवानी पड़ी है। डीएसपी अपनी रिपोर्ट एडिशनल एसपी ट्रैफिक को सौंपेंगे। इसके बाद 14 नवंबर को एसएसपी आरिफ शेख सड़क दुर्घटनाओं और उनमें अब तक हुई मौतों पर चर्चा कर हादसे को रोकने के उपाय सुझाएंगे, ताकि दुर्घटनाओं पर लगाम कसी जा सके। सुंदरनगर टोल प्लाजा से रायपुरा ओवरब्रिज तक, जोरा ब्रिज, पचपेड़ी नाका, टाटीबंध चौक से सरोना ओवरब्रिज तक, महात्मा गांधी सेतु महानदी पारागांव, पिंटू ढाबा से सेरीखेड़ी ओवरब्रिज, जिंदल इस्पात टर्निंग से रिंग रोड नंबर तीन तिराहा, मंदिर हसौद बस स्टैंड चौक, व्यास तालाब तिराहा से वीनू पेट्रोल पंप तक, मेटल पार्क मोड़ से धनेली नाला, भनपुरी तिराहा से यातायात थाना भनपुरी तक, माना कैंप मोड़ से शंकराचार्य आश्रम तक, सद्दाणी दरबार से धनेड़ी मोड़ तक, ग्राम सांकरा, रेडियंट स्कूल टर्निंग से निमोरा पंचायत भवन तक, ग्राम बंगोली मुरा टर्निंग, प्रिटिंग प्रेस से सिंघानिया चौक तक, मित्तल धर्मकांटा से बजरंग मेटालिक सरोरा तक।