खनिज माफियों को पुलिस दे रही संरक्षण
बीते कुछ दिनों पहले वरिष्ठ पत्रकार एवं सुरक्षा समिति के प्रदेशाध्यक्ष के ऊपर खनिज माफियों के खिलाफ समाचार के प्रकाशन को लेकर प्राणघातक हमला किया गया, जब गोविन्द शर्मा कलेक्टेªड में समाचार संबंधित जानकारी लेने गए थे, कलेक्टर आॅफिस से बाहर निकले उसी वक्त अचानक खनिज माफियों ने गोविन्द शर्मा एवं उनके साथियों के ऊपर हमला कर दिया, अगर राहगीरों ने नहीं बचाया होता तो गोविन्द शर्मा के साथ में कोई लम्बी घटना घट सकती थी, खनिज माफियों के व्यपार से करोड़ो की आसामी बन चुके हैं, और खनिज माफियों के खिलाफ कोई भी पत्रकार समाचार बनाने की हिम्मत नहीं करता, लेकिन गोविन्द शर्मा ने हिम्मत दिखाया तो उनके साथ खनिज माफियों ने मार पीट किया, ऐसा प्रतित होता है की खनिज माफियों ने पैसे के बल पर पुलिस प्रशासन को खरीद लिया है, अगर खरीदा नहीं होता तो पुलिस प्रशासन पहले गोविन्द शर्मा के रिपोर्ट को दर्ज करता, जब वशिष्ठ टाइम्स समाचार पत्र के संपादक को घटना के बारे में पता चला तब समाचार प्रकाशन किया गया, समाचार प्रकाशन के पहले मुंगेली पुलिस अधीक्षिका से संपादक ने बात भी किया, तो पुलिस अधीक्षिका ने कहा की मुझे इस बारे में कुछ नहीं पता, ऐसे गैर जिम्मेदार अधिकारी जिले में रहेंगे तो जिले का क्या हाल होगा, चर्चा यह है की खनिज माफियों के द्वारा मुंगेली एसपी को हर महीने मोटी रकम दी जाती है जिस वजह से अपराधी बेखौफ घुम रहे हैं, खनिज माफियों ने जो पत्रकार के ऊपर वसुली का आरोप लगाया वह सरासर गलत है, ईमानदार पत्रकार के ऊपर हमेशा वसुली का ही आरोप लगाया जाता है, जैसे पुर्व में महाराष्ट्र से बिलिज्ड समाचार पत्र निकलता था, जिसके संपादक आर.के करंजिया थे, उनको पुलिस वाले 6 महिने जेल में और 6 महीने बाहर रखते थे क्योंकि वे सच्चाई को लेकर समाचार लिखते थे, लेकिन पुलिस को सच्चाई हजम नहीं होता था, अंत में उस व्यक्ति का देहांत हो गया और उसके परीवार ने पत्रकारता से मुंह मोड़ लिया, पत्रकारता समाज का चैथा स्तंभ होता है, उस स्तंभ की पुलिस विभाग को सम्मान करना चाहिए, पर आज कल पैसे के आगे कोई सम्मान नहीं देखा जाता, छत्तीसगढ़ के सभी पत्रकार एक जुट होकर गोविन्द शर्मा को न्याय दिलाते हुए पुलिस के खिलाफ आंदोलन करें, गोविन्द शर्मा के उक्त मामले को लेकर पुलिस के द्वारा दोनों के ऊपर मामला दर्ज किया गया जब की पुरी गलती खनिज माफियों का नजर आ रहा है, यह पुलिस की अन्देखी है या पैसे की वजन है, मिली जानकारी के अनुसार खनिज माफिया अंकित अग्रवाल, अनिरूद्ध अग्रवाल और आकाश सिंघल के ऊपर सरगांव पुलिस ने भादवी की धारा 294, 504, 323, 324, 34 के तहत मुकदमा कायम कर लिया है, लेकिन अपराधी फरार बताए जा रहे हैं, अब देखना है की पुलिस कितने दिनों में अपराधियों को हिरासत में ले पाती है।