छत्तीसगढ़ शासन द्वारा संचार क्रांति के नाम से मोबाई वितरण किया जा रहा हैं,वितरण में पार्षद या संरपंच के द्वारा मोबाईल बाटने में सौतेला व्यवहार व जिनको मोबाई चलाने का अनुभवविहीन हैं वे क्या मोबाई चालायेगें। प्राप्त जानकारी के अनुसार मोबाई को ग्रामीण क्षेत्रों में पैसे के आभाव में तथा मोबाई का ज्ञान न होने के कारण शराब के लिये मोबाई को बेचा जा रहा हैं । जो शासन द्वारा मोबाई लेने वालो के द्वारा कहा गया कि मोबाई एक बार प्राप्त हुआ उसके पश्चात रिचार्ज खत्म होन पर रिचार्ज कौन करवायेगा यह भी एक सवाल खडा हो रहा हैं ,कुछ बुद्धजिवियों का कहना यह हैं कि हमारे छ.ग.शासन क उपर विश्व बैंक का कितना कर्जा हो चुका हैं जो कि सोचने पर मजबूर होना पडेगा।