Home कोरिया पत्रकारिता के नाम पर गुण्डागिरी से वसुली

पत्रकारिता के नाम पर गुण्डागिरी से वसुली

पत्रकारिता के नाम पर गुण्डागिरी से वसुली

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बैकुण्ठपुर एवं एम.सी.बी. मुख्यालय में संगठन बना-बनाकर एवं मुर्गा बेचने वाले एवं अनपड़ और पोर्टल वाले जो कि अपने मोंबाईल से मैसेज भेजकर 50 हजार हजार रूपये की मांग करतें है, पत्रकार है या डकैत, जो कि नगर पालिका के सी.एम.ओ. के उपर ऐसा दवाब बनाकर रखें है, कि बेटी से लेकर बाप तक जबरजस्ति नगरपालिका पर घुसे हुए है। और वहां पुराने कर्मचारियों को निकाल कर दबाव वस पत्रकारिता की धौस देकर उसके परिवार पत्रकार के परिवार को पूरा लाभ मिल रहा है, जो अपने को पत्रकार बोलते है। और सूचना के अधिकार से भी पैसा निकाला जा रहा है। सूचना के अधिकार का आवेदन देकर पैसा नगद ले लिया जाता है। यंहा तक देखा जाये की प्रेस कॉन्सल दिल्ली है पर कुछ लोग प्रेस कॉन्सल कोरिया का विवरण दे रहें है, जो अन्याय पूर्ण है। सी.एम.ओ. के उपर दबाव बनाकर पैसा निकाल रहें है। जैसे वृद्धा आश्रम में एक ही व्यक्ति पत्रकार भी है और वृद्धा आश्रम का वीणा उठाया है। समाज सेवी बनकर वृद्धा आश्रम का लाभ उठा रहा है। पत्रकारिता का धौस देकर शासकिय विभाग में अपनी गाड़ी जो नियमित गलत ढ़ग से जिसका टैक्स की परमीट एवं ट्रान्सपोर्ट का रजिस्ट्रेशन होना अनिवार्य है। यह घोर अनियमिता है। पत्रकारिता का नाम लेकर व्हाट्सप पर समाचार डालकर पढ़े लिखे अधिकारियों कों भी गुमराह कर पैसा वसुली किया जाता है। अभी फिलहाल में एक रोड को लेकर लोगो द्वारा पच्चासों हजार रूपये वसूल किया गया है, जिसकी स्क्रीनसॉट मोबाईल पर लिया गया है। पत्रकारिता की धज्जियॉं एवं ये संगठन का व्यापार बनाकर और आई.एस. आई.पी.एस. को चापलुसी में फसाकर ऐसे चोर उच्चकों को प्रशासन पसंद कर रहा है।  

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