सोनहत- विकासखंड सोनहत के लगभग सभी ग्राम पंचायतों में बोल्डर चेक डैम निर्माण, अस्थाई बोरी बंधान निर्माण में भारी भ्रष्टाचार देखने को मिल रहा है प्राप्त जानकारी के अनुसार कई पंचायतों में दो वन भूमि में स्थित नालों में जंगल से ही गोल्डन परिवहन मनरेगा के जरिए मजदूर लगाकर कराया जाता है और बकायदा परिवहन के नाम पर मोटी राशि निकाल ली जाती है जबकि जबकि बोल्डर फोड़ने से लेकर उसे नाले में जमाने तक का काम मनरेगा में मजदूर लगाकर कराया जाता है और परिवहन का बिल लगाया जाता है अगर यह कहा जाए तो गलत नहीं होगा की वन विभाग की मिलीभगत से यह सभी काम हो रहे हैं जिसमें देवगढ़ वन क्षेत्र के अंतर्गत आने वाली पंचायतों में भारी भ्रष्टाचार देखने को मिल रहा है कई बार क्षेत्र के परिक्षेत्र अधिकारी को इसकी सूचना दी गई लेकिन उन्होंने भी देखता हूं कह कर अपना पल्ला झाड़ लिया इसी तरह अस्थाई बोरी बंधान निर्माण में भी भारी भ्रष्टाचार हुआ है निर्माण कार्यों के लिए सीमेंट आता है उसी की खाली बोरियों से नालों में रेत भरकर नालों को बांधा जाता है और एक खाली बोरी की कीमत ₹5 लगाकर मोटा कमीशन कमाया जाता है और इन सभी कार्यों में रोजगार सहायक की मुख्य भूमिका रहती है कुल मिलाकर यह कहा जाए तो गलत नहीं होगा की हींग लगे ना फिटकरी रंग भी चोखा..
✍ सोनहत विकासखंड में बोल्डर चेकडैम निर्माण में भारी भ्रष्टाचार……..
पंचायतों में भारी भ्रष्टाचार देखने को मिल रहा है