रवि शर्मा सोनहत……
सोनहत- जनपद पंचायत सोनहत के मुख्यकार्यपालन अधिकारी सुर्खियों में बने रहने के लिए हमेशा कुछ न कुछ करते रहते हैं इस बार उनके द्वारा अपनी सेवा में पूरी ईमानदारी के साथ लगे लिपिक को जनपद पंचायत के आगामी चार सितंबर को होने वाली सामान्य प्रशासन की सभा के मुख्य मुद्दों में शामिल है आपको बता दें कि ये वही लिपिक दीपचंद शिवहरे जी है जो कि पिछले साल सितंबर माह में कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय में अवैध रूप से घुसने के आरोप में दोषी पाए गए थे और ये जाँच किसी औऱ ने नहीं बल्कि तत्कालीन अनुविभागीय अधिकारी कौशल तेंदुलकर ने की थी और कलेक्टर महोदय को भेजे प्रतिवेदन में बाकायदा उक्त लिपिक पर आपराधिक प्रकरण दर्ज कराने की अनुशंसा भी की थी लेकिन अपने रसूख और राजनेताओं से गहरी पैठ के चलते उक्त लिपिक आज भी शान से कार्य कर रहा है और जाँच आज भी ठंडे बस्ते में है अब पता चला है कि सीईओ साहब के द्वारा उक्त लिपिक को पदोन्नति देने की तैयारी की जा रही है और इसके लिए उनके द्वारा बाकायदा आगामी चार सितंबर को जनपद के सामान्य प्रशासन की सभा में मुख्य एजेंडे के रूप में शामिल कराया है ताकि जनपद सदस्यों की मोहर लगने के बाद पदोन्नति दी जा सके औऱ यहां कहना गलत नहीं होगा कि कुछ जनपद सदस्य मोटी रकम के लालच में आकर पक्ष में अपना मत दे दें।
औऱ भी कई हैं मामले- आपको बता दें कि लिपिक दीपचंद शिवहरे पर समय समय पर कई तरह के आरोप लगते रहे हैं मसलन सरपंच सचिवों से निर्माण कार्यों की फाइल आगे बढ़ाने के एवज में मोटी रकम की मांग करना, किसी भी शासकीय कार्यों के आयोजन में अपना टेंट, कैटरिंग व्यवस्था चलाना और मोटी रकम वसूलना नहीं देने पर महीनों तक चक्कर लगवाना जैसे कई आरोप लगते रहे हैं पर करवाई शुन्य।
पहले भी निकाले जा चुके हैं- पहले भी इन्हें जनपद पंचायत के तत्कालीन सीईओ के द्वारा इनके अनैतिक कार्यों के कारण पद से बर्खास्त कर दिया गया था तब इन्होंने हाईकोर्ट की शरण ली थी और उच्च न्यायालय ने अपने फैसले में इन्हें जरूरत पड़ने पर व्यवस्था के तहत रखने का फैसला प्रशासन के ऊपर छोड़ा था लेकिन उस समय के जनप्रतिनिधियों को मलाई खिलाकर महोदय ने सहायक ग्रेड-3 का पद हासिल कर लिया और मनमानियों का दौर शुरू हो गया जो आज तलक जारी है पिछले सीईओ संजय राय के समय तो बेलिया में हुए जिला स्तरीय जनसमस्या निवारण शिविर आयोजित करने के नाम पर इन्होंने प्रत्येक पंचायत से पच्चीस पच्चीस हजार रुपये वसूले कई सचिवों ने विरोध भी किया लेकिन साहब के खास होने के कारण किसी ने खुला विरोध नहीं कियाबस दबी जुबान में एक दूसरे से फुसफुसाते रहे।
हमारे द्वारा कलेक्टर महोदय को ज्ञापन दिया जा रहा है ये बिल्कुल गलत है ऐसे लिपिक पर कड़ी कार्यवाही होनी चाहिए।
मनोज साहू युवा नेता भाजयुमो