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✍ गोली मारी फिर शव के दो टुकड़े कर फेंक दिया जंगल ………

घटनास्थल की जांच में खून लगा एक गमछा भी बरामद हुआ था। गोली मारकर हत्या किए जाने का संदेह

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अंबिकापुर। सूरजपुर जिले के बिहारपुर भाजपा किसान मोर्चा के मंडल अध्यक्ष शिवचरण काशी 60 वर्ष के संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हो जाने के मामले का पुलिस ने रहस्योद्घाटन कर दिया है। जमीन विवाद पर पिता-पुत्र ने पीठ में गोली मार भाजपा नेता की हत्या कर दी थी। गड़ांसा से सिर को काट अलग कर शव को घटनास्थल से दूर जंगल में छिपा दिया था। तीसरे दिन ही शव बरामदगी के साथ पुलिस ने हत्या की वारदात में शामिल पिता-पुत्र तथा आपराधिक षड़यंत्र में सहभागिता दर्ज कराने वाली आरोपित की पत्नी को भी गिरफ्तार कर लिया है। आरोपितों के कब्जे से देशी कट्टा, कारतूस समेत अन्य सामान बरामद किए गए हैं।

सूरजपुर जिले के चांदनी-बिहारपुर के ग्राम पासल निवासी शिवचरण काशी 60 वर्ष 13 जून की रात करीब नौ बजे पासल चौक से अपने घर लौट रहे थे। उसके बाद से उनका कुछ पता नहीं चल रहा था। घटना की सूचना पर एसपी राजेश कुकरेजा के साथ पुलिस टीम अगले दिन 14 जून की सुबह से ही जांच में लगी हुई थी। भाजपा नेता शिवचरण काशी के पुत्र सुरेश कुमार ने पुलिस को बताया था कि पड़ोस में रहने वाले रामकुमार साहू 50 वर्ष से जमीन को लेकर उनका विवाद चल रहा था। यह प्रकरण न्यायालय में भी विचाराधीन है। घटनास्थल की जांच में खून लगा एक गमछा भी बरामद हुआ था। गोली मारकर हत्या किए जाने का संदेह जताए जाने पर एसपी ने खुद जांच की कमान संभाल रखी थी। भाजपा नेता के पुत्र द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर पुलिस ने संदेही रामकुमार साहू व उसके पुत्र रोहित साहू 25 वर्ष को हिरासत में लिया। वे लगातार पुलिस को गुमराह करते रहे। पिता-पुत्र के विरोधाभासी बयान से पुलिस का शक गहराता गया। आखिरकार दोनों टूट गए और गोली मार कर भाजपा नेता शिवचरण काशी की हत्या कर शव को घटनास्थल से दूर विशालपुर के नजदीक रेड़ीपहरी के जंगल में छिपाने की जानकारी दे दी। मंगलवार सुबह पुलिस ने शव बरामद कर लिया। मौके पर सिर नहीं था। काफी खोजबीन के बाद सिर को भी ढूंढ निकाला गया। एसपी राजेश कुकरेजा ने बताया कि मामले में आरोपित रामकुमार साहू की पत्नी को भी गिरफ्तार किया गया है। उन्हें इस घटना की जानकारी थी, लेकिन उन्होंने पुलिस पूछताछ में भी जानकारी देने से इंकार किया। आपराधिक षड़यंत्र में शामिल होने के कारण उसे भी गिरफ्तार किया गया है। आरोपित रोहित साहू के कब्जे से एक देशी कट्टा, आठ राउंड जिंदा कारतूस, एक नग खाली खोखा बरामद किया गया है। मृतक के कपड़े भी पुलिस ने बरामद कर लिए हैं। आरोपितों के खिलाफ धारा 302, 201 व 25, 27 आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है।

एसपी राजेश कुकरेजा ने बताया कि आरोपित पिता-पुत्र रामकुमार साहू-रोहित साहू को पता था कि भाजपा नेता शिवचरण काशी हर रोज पासल चौक से पैदल ही घर जाते हैं। सुनियोजित तरीके से वारदात को अंजाम देने के लिए आरोपितों ने पहले से तैयारी कर रखी थी। शिवचरण काशी रात लगभग आठ बजे पैदल घर जा रहे थे, इसी दौरान आरोपित रोहित साहू ने पीछे से भाजपा नेता शिवचरण काशी के पीठ में गोली मारी। वे नीचे गिर गए, तब आरोपित ने पिता के साथ उसे खींचकर घटनास्थल से करीब 50 मीटर की दूरी पर एक नाले के पास ले जाकर रखे। आरोपित रोहित ने गड़ांसा से वार किया। मौत हो जाने के बाद शव को वहीं छोड़कर घर वापस लौट गए थे।

एसपी के मुताबिक शिवचरण काशी की हत्या के बाद आरोपितों ने रात लगभग 11 बजे घर से बोरा लेकर घटनास्थल पहुंच शव को बोरे में भरकर मोपेड में रख विशालपुर जंगल ले गए थे। वहां मृतक के सिर को गड़ांसा से काटकर अलग कर दिया था। शरीर से कपड़े निकाल धड़ को पत्थर से दबा छिपा दिया था। सिर व कपड़े को वहां से लगभग 300 मीटर दूर सड़क की दूरी ओर रेड़ीपहरी के जंगल में फेंक दिया था। मंगलवार सुबह आरोपितों की निशानदेही पर पहले धड़ के हिस्से को बरामद किया गया, उसके बाद सिर को बरामद करने में पुलिस को मशक्कत करनी पड़ी। मामले में घटनास्थल से मृतक का मोबाइल, कपड़ा, गड़ांसा, मोपेड व कागजात भी जब्त किया गया है।

13 जून की रात से भाजपा नेता शिवचरण काशी गायब थे। वे गांव के पंच भी थे। उसी रात गोली चलने जैसी आवाज भी सुनी गई थी। गांव में शादी-विवाह चल रहा था, इसलिए भाजपा नेता के पुत्र सहित अन्य लोगों ने सोचा कि खुशी में किसी ने पटाखा फोड़ा होगा। सुबह जंगल में गमछा मिला था। इसी गमछे से अंधे कत्ल का पर्दाफाश हो गया। गमछा शिवचरण काशी का था। उसमें खून के निशान थे। एक-दो कागज भी थे। रात के अंधेरे में आरोपितों ने शायद यह नहीं देखा था कि मृतक का गमछा छूट गया है। शव को घसीटने के निशान भी मिले थे। प्रथम दृष्टया ही संदेही के रूप में रामकुमार साहू का नाम सामने आने के कारण उसे हिरासत में ले लिया गया था।

एसपी राजेश कुकरेजा ने बताया कि हत्या की वारदात में शामिल रामकुमार साहू 50 वर्ष मूलतः सिंगरौली के बैढ़न का रहने वाला है। वह पासल गांव में ही जमीन खरीदकर पत्नी के साथ रहता था। भाजपा नेता शिवचरण काशी ने आरोपित रामकुमार साहू को आठ एकड़ जमीन बेच दिया था। जमीन में लगे फसल व जोताई को लेकर विवाद होता था। जमीन के मालिकाना हक को लेकर भी प्रकरण एसडीएम न्यायालय में चल रहा है। आरोपितों के बीच समय-समय पर चांदनी थाने में विवाद की शिकायत भी सामने आती थी। दोनों पक्षों के खिलाफ लगभग 10 बार प्रतिबंधात्मक धाराओं के तहत कार्रवाई भी की गई थी। उक्त जानकारी मृतक के पुत्र द्वारा पुलिस को दिए जाने के बाद संदेह रामकुमार साहू पर ही चला गया था। पूछताछ में सारा मामला स्पष्ट हो गया। प्रकरण की जांच के लिए एसपी ने चार अलग-अलग टीमों को जांच में लगाया था।

अंधे कत्ल के रहस्योद्घाटन में आइजी रतनलाल डांगी लगातार मार्गदर्शन देते रहे। वे एसपी सूरजपुर राजेश कुकरेजा के संपर्क में थे। एसपी ने घटना के बाद से ही चांदनी-बिहारपुर में कैंप किया था। वारदात के रहस्योद्घाटन पर आइजी ने पुलिस टीम को नकद इनाम देने की घोषणा की है। कार्रवाई में एसपी राजेश कुकरेजा के नेतृत्व में एएसपी हरीश राठौर, पीएस महिलाने, एसडीओपी मंजूलता बाज, भटगांव थाना प्रभारी किशोर केवट, चांदनी थाना प्रभारी शिवकुमार खुंटे, ओड़गी थाना प्रभारी रघुवीर सिंह ठाकुर, चौकी प्रभारी चेंद्रा चित्रलेखा साहू, एएसआई विदवा राम यादव, प्रधान आरक्षक मान सिंह, राजेश यादव, आरक्षक अशोक कन्नौजिया, रजनीश पटेल, मनोज जायसवाल, शैलेंद्र सिंह, रामप्रसाद शांडिल्य सक्रिय रहे। एसडीएम भैयाथान प्रकाश राजपूत, तहसीलदार ओड़गी अमित केरकेट्टा ने भी पुलिस की जांच-कार्रवाई में सहयोग किया।

सूरजपुर पुलिस अधीक्षक राजेश कुकरेजा ने बताया कि चांदनी-बिहारपुर थाना का पासल गांव सूरजपुर जिला मुख्यालय से लगभग 100 किमी की दूरी पर मध्यप्रदेश के सिंगरौली सीमा के समीप स्थित है। घने जंगल और कठिन भौगोलिक परिस्थितियों के बावजूद पुलिस की चारों टीमें गांव में ही कैंप कर जांच-पड़ताल में लगी रही, जिससे इस मामले का रहस्योद्घाटन हो सका। उन्होंने बताया कि चांदनी-बिहारपुर में पुलिस बल तैनात है। स्थिति भी पूरी तरीके से नियंत्रण में है। सूचना मिलने के बाद पुलिस की तत्परता तथा अंधे कत्ल के रहस्योद्घाटन कर देने से अब सारी आशंकाएं दूर हो गई हैं। उन्होंने बताया कि घटना के एक दिन पहले आरोपित रामकुमार साहू का पुत्र रोहित साहू बैढ़न से पासल आ गया था। सुनियोजित तरीके से इस पूरे वारदात को अंजाम दिया गया था। आरोपित रोहित साहू ही हथियार लेकर आया था। वारदात के बाद आरोपित के घर बैढ़न से देशी कट्टा व जिंदा कारतूस बरामद किया गया है।

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