कोरिया एवं एम.सी.बी. के ठेकेदारों द्वारा जानकारी प्राप्त हुआ है कि, प्रभारी लोक स्वास्थ यांत्रिकी के द्वारा 8-10 प्रतिशत तक कमीशन मांगा जा रहा है। सोचने वाली बात है कि, जब 8-10 प्रतिशत कमीशन ही दे देगा तो, कितना मटेरियल लगायेगा व कितना उप यांत्रिकी विभाग को देगा। यह चर्चा का विषय है कि, लोगों के द्वारा कहा जाता है कि, पैसा उपर तक जाता है इसलिए पैसे की मांग की जा रही है। सबसे ज्यादा मार नई पीढ़ी के पत्रकारों की संख्या 300-400 लोगों की हो चुकी है, सभी को पैसा देना रहता है। पैसा के लालच में जो बिजनेस लोग करते थे मुर्गी, अण्डा, पान दुकान, चाय दुकान सभी लोग माइक पकड़कर घुम रहे है उस माइक के डर के कारण पढ़े लिखे अधिकारी व आई.एस.आई.पी.एस. अनपढ़ों के बीच में फंसे हुए है। कभी भी आई.एस.आई.पी.एस. जो योग्य पत्रकार व संपादक को कभी याद नहीं करते, जो कि इनकी सच्चाई बता सके। भारत सरकार या राज्य सरकार ऐसे पीढ़ी के पत्रकार बोलने वाले से सचेत नहीं हुए तो आगे मुसीबत का सामना करना पड़ेगा। इस संबंध में पूर्व मुख्यमंत्री के द्वारा ऐसे लोगों को डेरा या संघ के नाम से बैठने के लिए निवास बना दिया गया, जिनको संगठन का धौस दिखाकर अधिकारी से पैसा वसूलना आम बात हो चुकी है। कभी-कभी तो ऐसा भी हुआ है कि, पत्रकार के नाम पर मार भी खाए है, इनको इतनी भी शर्म नहीं है कि, हम गलत रास्ते पर जा रहे है पर शर्म भी क्या करें। एक अधिकारी से 500 या 1000 रूपये मिला तो 10 अधिकारी के पास गये तो कम-से-कम 5000 रूपये हो जाता है जो रोड पर बैठकर कमा नहीं पाते थे वो घुम कर व कुर्सी में बैठकर अधिकारी को चमकाकर पैसा ले लेते है। कोई भी पढ़ाई की जरूरत नहीं खाली माइक रखे अधिकारी को चमकार पैसा ले लेते है। सोचने वाली बात है कि, अनपढ़ व्यक्ति पढ़े हुए आदमी को चमका रहा है।
स्वास्थ यांत्रिकी विभाग के द्वारा कमीशन खोरी का मामला……….
कोरिया एवं एम.सी.बी. के ठेकेदारों द्वारा जानकारी प्राप्त हुआ है कि, प्रभारी लोक स्वास्थ यांत्रिकी के द्वारा 8-10 प्रतिशत तक कमीशन मांगा जा रहा है।